योना 2 तब योना ने अपने परमेश्वर यहोवा से मछली के पेट के अंदर से प्रार्थना की और कहा: मैं गहरी विपत्ति में था मैंने यहोवा की दुहाई दी और उसने मुझको उत्तर दिया मैं गहरी कब्र के बीच था हे यहोवा मैंने तुझे पुकारा और तूने मेरी पुकार सुनी …
मत्ती 6:3-4 “परन्तु जब तू दान करे, तो जो तेरा दाहिना हाथ करता है, उसे तेरा बायाँ हाथ न जानने पाए। ताकि तेरा दान गुप्त रहे, और तब तेरा पिता जो गुप्त में देखता है, तुझे प्रतिफल देगा।” इस वचन में यीशु हमें स्पष्ट आदेश देता है कि हम जो …
1 तीमुथियुस 5:8 – किन्तु यदि कोई अपने रिश्तेदारों, विशेषकर अपने परिवार के सदस्यों की सहायता नहीं करता, तो वह विश्वास से फिर गया है तथा किसी अविश्वासी से भी बुरा है। आज का सन्देश उन भाइयों और बहिनों के लिए है जो कई कारणों से अपने प्रियजनों और परिवारों …
क्यों हमें यीशु को अपना परमेश्वर मानना चाहिये? यह एक ऐसा सवाल है जो अक्सर मुसलमान और दूसरे धर्म के लोग हम मसीहियों से पूछते हैं? उनका तर्क होता है कि उनका अपना एक ख़ुदा और पैग़म्बर है तो फिर क्यों उन्हें यीशु को अपनाना चाहिए और क्यों वह सब …
हम में से कितनों को यीशु के बचपन और जवानी के जीवन के बारे में पता है? दरअसल यीशु के जीवन के प्रारंभिक वर्षों के बारे में बाइबल में भी बहुत कम लिखा है। लोग अक्सर इस तरह के प्रश्न पूछते हैं कि; यीशु अपनी शुरूआती ज़िन्दगी में क्या कर …
इस दुनिया में कई भगवान हैं, जो आज हैं और कल ग़ायब हो जाते हैं। कइयों ने अपने वास्तविक परमेश्वर होने की घोषणा की लेकिन एक समय के बाद वे इतिहास की रेत में ग़ायब हो गये। ना आज वह जीवित हैं और न ही उन का नाम। कई इंसान …
क्या आप ने कभी “सताये हुए मसीही” शब्द सुना है? इसका शब्द का मतलब और इसकी परिभाषा क्या है? दुनिया के विभिन्न भागों में हज़ारों लाखों मसीहियों को दैनिक आधार पर यीशु मसीह पर उनके विश्वास के कारण सताया जाता है। वे सताए जाते हैं यीशु से प्यार करने के …
क्या होता है जब एक मुसलमान इस्लाम को छोड़ कर मसीहियत में प्रवेश करता है क्योंकि उसका परिचय मसीह के सच्चे प्रकाश से होता है? किस तरह की समस्याओं और कठिनाइयों से उस इस्लाम के धर्मद्रोही व्यक्ति को गुज़रना पड़ता है? क्या यह एक आसान और बाधारहित यात्रा होती है …
एक मुसलमान के लिए इस्लाम से ईसाई धर्म तक का सफ़र कभी भी आसान नहीं होता है ख़ास तौर पर जब जीवन में यह परिवर्तन एक इस्लामी देश में आये जहाँ परिवार और समाज के हाथों उत्पीड़न और मौत का साफ़ साफ़ डर हो। लेकिन फिर भी बहुत से लोग …
इस्लाम से ईसाई धर्म में आना जीवन का एक बहुत बड़ा परिवर्तन होता है। एक तरफ परिवार और समाज की तरफ़ से उत्पीड़न होता जो कि उस व्यक्ति को इस्लाम से धर्म भ्रष्ट गद्दार मानते हैं तो वहीँ दूसरी ओर यीशु मसीह का प्यार है जो उस व्यक्ति को मसीहियत …